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Madhya Pradesh: Will Scindia Be Shivraj’s Successor? Why Did The Jain Monk Call Him The Future Chief Minister? – मध्य प्रदेश: क्या सिंधिया होंगे शिवराज के उत्तराधिकारी? जानिए जैन मुनि ने क्यों कहा उन्हें भावी मुख्यमंत्री

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न्यूज डेस्क, अमर उजाला, ग्वालियर
Published by: रवींद्र भजनी
Updated Wed, 23 Feb 2022 11:50 AM IST

सार

मध्य प्रदेश की राजनीति में सहसा चर्चा में आता है कि ज्योतिरादित्य सिंधिया अगले मुख्यमंत्री हो सकते हैं। अब जैन मुनि विहर्ष सागर महाराज ने तो इसके कारण भी गिना दिए कि क्यों वे मुख्यमंत्री बन सकते हैं। 
 

ज्योतिरादित्य सिंधिया ने पंचकल्याणक महोत्सव में शिरकत की।

ज्योतिरादित्य सिंधिया ने पंचकल्याणक महोत्सव में शिरकत की।
– फोटो : अमर उजाला

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विस्तार

क्या ज्योतिरादित्य सिंधिया मध्य प्रदेश में शिवराज सिंह चौहान के उत्तराधिकारी होंगे? जब से सिंधिया कांग्रेस छोड़कर भाजपा में आए हैं, तब से यह कयास और अटकलें लग रही हैं। अब ग्वालियर में जैन मुनि विहर्ष सागर महाराज ने उन्हें आशीर्वाद भी दे दिया कि कि वे आने वाले दिनों में प्रदेश के मुख्यमंत्री बन सकते हैं। 

ग्वालियर के फूल बाग स्थित अयोध्या नगरी में जैन पंचकल्याणक महोत्सव चल रहा है। इसका मकसद है विश्व शांति और अहिंसा का पाठ पढ़ाना। सिंधिया ने मंगलवार को पंचकल्याणक महोत्सव में शिरकत की। फूलबाग मैदान पर उन्होंने जैन मुनि विहर्ष सागर महाराज के साथ-साथ मुनि विजयेश सागर महाराज और विनिबोध सागर महाराज का आशीर्वाद लिया। इस मौके पर मुनि विहर्ष सागर महाराज ने कहा कि सिंधिया परिवार ने हमेशा ही धर्म के प्रति अपनी आस्था जताई है। जनसेवा को अपना माध्यम बनाया है। सिंधिया जिस तरह से आम लोगों की सेवा कर रहे हैं, एवं समूचे प्रदेश के विकास के लिए चिंतित रहते हैं, उन्हें उम्मीद है कि आने वाले समय में ज्योतिरादित्य सिंधिया प्रदेश की कमान संभालेंगे। मुख्यमंत्री बनेंगे।  

क्यों बनना चाहिए सिंधिया को मुख्यमंत्री

मुनि विहर्ष सागर महाराज ने कहा कि युद्ध कोई भी हो, चाहे महाभारत का हो या राजनीति का हो या युद्ध धर्म का हो, जीतने के लिए तीन चीजें जरूरी होती है। पहला गुण धर्म है, जो महाराज (सिंधिया) में साफ झलकता है। जब भी मौका मिलता है, वे दर्शन करने आते हैं। दूसरा गुण होता है साहस। वे यह गुण अपने कार्यों से दिखा चुके हैं। तीसरा गुण होता है धैर्य, जो उनके बारे में समझाने की जरूरत नहीं है। वे फास्ट मूवर हैं। नए-नए प्रयास करते हैं कि कैसे भी लोगों को, प्रदेश को आगे ले जाया जा सके। इसकी कोशिश करते हैं। लोग चर्चा करते हैं कि हमारे सिंधिया जी यहां के सीएम के रूप में दिख सकते हैं। पब्लिक की सेवा करना और एमपी को चमकाना, उनका लक्ष्य है। एमपी अन्य राज्यों से पीछे है और काफी आगे लेकर जाना है। यह काम महाराज ही कर सकते हैं। 

सिंधिया बोले- मैं खुद को जैन समाज का ही मानता हूं 

केंद्रीय मंत्री सिंधिया ने इस अवसर पर कहा कि वे भले ही जैन परिवार में नहीं जन्मे हैं, लेकिन वे अपने आप को जैन परिवार का सदस्य ही मानते हैं। जैन समाज ने विश्व को शांति और अहिंसा का मार्ग बताया है, जिस पर मौजूदा दौर में पूरी दुनिया को अनुसरण करने की जरूरत है। सिंधिया के साथ ग्वालियर के प्रभारी मंत्री तुलसीराम सिलावट, ऊर्जा मंत्री प्रद्युमन तोमर, जैव विविधता मंत्री भारत सिंह कुशवाह एवं अन्य कार्यकर्ता व जैन समाज के पदाधिकारी मौजूद थे। 

पूरे विश्व में प्रसिद्ध है किले में स्थित पार्श्वनाथ की प्रतिमा

जैन मुनि विहर्ष सागर महाराज ने यह भी कहा कि ग्वालियर किले में स्थित गोपाचल पर्वत अपने आप में अनूठा है। यहां भगवान पार्श्वनाथ की 45 फुट ऊंची अनोखी प्रतिमा है, जो ग्वालियर और देश में ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया में प्रसिद्ध है। दूरदराज से सैलानी एवं श्रद्धालु यहां आते हैं। उन्होंने सिंधिया से अपील की कि वे गोपाचल पर्वत को विश्व पटल पर रखने की दिशा में ज्यादा कोशिश करें। 

 

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